मिरा भाईंदर महा नगर पालिका शहर क्षेत्र का विकास की ओर बढ़ता कदम. | Part -100

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ब्लैक एंड वाइट तस्वीर में जो चाली दिखाई दे रही है, वो 32 साल पहले मैंने स्वयं कैमरा में कैद की है. ये तस्वीर देखते ही ऐसा प्रतित होता है कि ये कोई गोरेगांव का तबेला है.

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मगर ऐसा नहीं है, ये तत्कालीन जिला परिषद् की सरकारी स्कूल है. नयी नयी नगर परिषद् की स्थापना, बेसुमार समस्याये, ना गटर, ना स्ट्रीट लाइट, खाबड़ खूबड़ कच्चा रोड, ना बगीचा, ना अच्छी स्कूल का अस्थित्व. असंगठित जनता, पानी की विकट समस्या ने जनता को परेशान कर दिया था. उस समय ता : 1जनवरी 1986 में हिंदी समाचार पत्र ” भाईंदर भूमि ” का प्रकाशन प्रारंभ हो चूका था.

पत्र के प्रकाशक, मुद्रक संपादक श्री पुरुषोत्तम लाल चतुर्वेदी साहब अपनी धारदार कलम से स्थानीय जनता तथा उच्च अधिकारी तक जन समस्या को उजागर कर रहे थे.

उस वक्त जनता दल के श्री मिलन वसंत म्हात्रे, सिटिज़न फ्रंट के श्री रोहित सुवर्णा जी अपना विरोध दर्शाकर यहां की जनसमस्या के लिए अपने साथियो के साथ संघर्ष कर रहे थे.

दूसरी तस्वीर में पुरानी तस्वीर की जगह नया भवन बनाया गया है. जहां स्कूल के साथ महा नगर पालिका द्वारा विविध उपक्रम चलाया जा रहा है. जिस में मिरा भाईंदर क्षय रोग नियंत्रण केंद्र, आधार सेंटर, मिरा भाईंदर महानगर पालिका हिंदी शाला क्रमांक = 36, मिरा भाईंदर गुजराती मीडियम स्कूल, आदि प्रकल्प चलाया जा रहा है.

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आज जो आप मिरा भाईंदर शहर का सर्वांगीण विकास देख रहे हो इसमे यहाके जागरुक नागरिक, नगर सेवक, पत्रकार बंधू, डॉक्टर एसोसिएशन, यहां की सामाजिक संस्थाएं, सभी राजकीय पक्ष , पुलिस प्रशासन तथा अधिकारी वर्ग सभी का अनमोल, गौरव प्रदान सहरानीय योगदान रहा है.

आज रेल्वे उड़ान पूल, फाटक स्थित सब वे, शहीद भगतसिंह भूयारी मार्ग, केबिन रोड स्थित पूर्व पश्चिम फुट ओवर ब्रिज, भाईंदर स्टेशन स्थित ईस्ट वेस्ट जानेके लिए फुट ओवर ब्रिज, कई रोड का रुंदीकरण, खुली गटर का बंद गटर में रूपांतर, कई जगह सुशोभित किये गये बगीचे, पक्के रोड, गली गली में स्ट्रीट लाइट लग चुकी है.

जेसल पार्क चौपाटी का दलदल की जगह से सीमेंट कंक्रीट में परिवर्तन, भाईंदर पश्चिम स्थित विशाल नेताजी सुभाषचंद्र बोस मैदान का भव्य निर्माण, ग्रामपंचायत के समय के सभी पुराने तालाबों का फिरसे आधुनिकरण, अध्यतन ” भारत रत्न लता मंगेशकर नाट्य गृह ” का लोकार्पण ये सभी और अन्य कई चीजे शहर का हुआ विकास को निर्देश करती है.

सन 2025 तक मेट्रो प्रोजेक्ट तैयार हो जायेगा, भाईंदर पश्चिम , पांजू , वसई मार्ग शुरु हो जायेगा, भाईंदर की खाडी से जलमार्ग बॉट सेवा की शुरुआत होते ही हमारा मिरा भाईंदर शहर मेगा सिटी की ओर प्रयाण करते नजर आयेगा.

मगर इससे पहले पानी समस्या का समाधान, शहर की ट्रैफ़िक समस्या का हल, पैदल चलने वाले राहदारी की सुविधा के लिए फेरीवाले मुक्त फुटपाथ, भाईंदर पश्चिम की चौपाटी का निर्माण, सरकारी कामों में पारदर्शकता, टेंडरो में होनेवाले भ्रस्ट्राचार में नियंत्रण आदि समस्यायो पर काबू पाना होगा तब हम गौरव से कह सकेंगे…..

जन गण मन अधिनायक जय है,

भारत भाग्य विधाता

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