*** पहली हिंदी फ़िल्म : ( बॉलीवुड ) “राजा हरिश्चंद्र ” सन 1913 में रिलीज हुई हिंदी फ़िल्म थी. आजसे 111 साल पहले रिलीज हुई इस फिल्म में दत्तात्रय दामोदर डबके राजा हरिश्चंद्र के रोल में नजर आए थे. ये फिल्म एक साइलेंट फिल्म थी, यानी ” चार्ली चैपलिन ” की तरह ही इस फिल्म में कोई आवाज नहीं थी.
*** हिंदी में पहली बोलती फ़िल्म :
सबसे पहली बोलने वाली फिल्म शनिवार, तारीख़ 14 मार्च और वर्ष 1931. इसी दिन मुंबई के मैजेस्टिक सिनेमा हॉल में आर्देशिर ईरानी निर्देशित ‘आलम आरा’ रिलीज़ हुई। ये भारत की पहली बोलती फ़िल्म टॉकी थी.
*** पहली मराठी फ़िल्म : ( मॉलीवुड )
दादासाहेब फाल्के द्वारा निर्देशित और सन 1913 में रिलीज़ हुई राजा हरिश्चंद्र , पहली मराठी भाषा की फ़िल्म थी. पहली मराठी बोलती फिल्म अयोध्याचा राजा थी, जो 1932 में रिलीज़ हुई थी.
*** गुजराती प्रथम फ़िल्म : (गोलीवुड)
ता : 9 अप्रैल 1932 के दिन पहली पूर्ण लंबाई वाली गुजराती फ़िल्म नरसिंह मेहता की रिलीज़ के साथ गुजराती सिनेमा की शुरुआत हुई थी. इसका निर्देशन नानूभाई वकील ने किया था, सागर मूवीटोन द्वारा निर्मित, और इसमें मोहनलाला, मारुतिराव, मास्टर मनहर और मिस मेहताब ने अभिनय किया था.
यह फ़िल्म “संत” शैली की थी और संत श्री नरसिंह मेहता के जीवन पर आधारित थी. और पहली गुजराती बोलती फ़िल्म थी. मूक फिल्मों के दौर में, इंडस्ट्री में कई लोग गुजराती थी.
*** पहली तमिल फ़िल्म : ( टॉलीवुड )
पहली तमिल मूक फिल्म, कीचक वधम, का निर्देशन आर. नटराज मुदलियार ने 1918 में किया था. तमिल भाषा की पहली बोलती फीचर फिल्म, कालिदास, एचएम रेड्डी द्वारा निर्देशित एक बहुभाषी फिल्म थी, जो भारत की पहली बोलती चलचित्र आलम आरा के सात महीने से भी कम समय बाद 31 अक्टूबर 1931 को रिलीज़ हुई थी.
*** पहली मलयालम फिल्म :
मलयालम फ़िल्म का निर्माण
20वीं सदी के उत्तरार्ध तक नहीं हुआ था. सन 1947 से पहले केवल दो मूक फिल्में और तीन मलयालम भाषा की फिल्में थी.
*** पहली भोजपुरी फ़िल्म : (बिहारवुड)
1960 के दशक में, भारत के पहले राष्ट्रपति राजेंद्र प्रसाद , जो बिहार से थे, ने बॉलीवुड अभिनेता नजीर हुसैन से मुलाकात की और उन्हें भोजपुरी में एक फिल्म बनाने के लिए कहा, जिसके परिणामस्वरूप सन 1963 में पहली भोजपुरी फिल्म रिलीज हुई थी.
भोजपुरी सिनेमा का मुख्य क्षेत्र बिहार में है. इसके अलावा यह सिनेमा उत्तर प्रदेश ,और नेपाल में भी अपनी जगह बना चुका है. भोजपुरी की पहली फिल्म “गंगा मैया तोहे पियरी चढ़इबो” विश्वनाथ शाहाबादी द्वारा सन 1963 में प्रदर्शित की गई थी.
*** पहली कन्नड़ फ़िल्म :
कन्नड़ फ़िल्म जिसे सैंडलवुड या चंदनवन के नाम से भी जाना जाता है, यह भारतीय सिनेमा का वह खंड है जो कर्नाटक राज्य में व्यापक रूप से बोली जाने वाली कन्नड़ भाषा में चल चित्रों के निर्माण के लिए समर्पित है. कन्नड़ सिनेमा गांधी नगर, बैंगलोर में आधारित है.
वाई.वी.राव द्वारा निर्देशित 1934 की फिल्म सती सुलोचना कन्नड़ भाषा में रिलीज हुई पहली बोलती फिल्म थी. सुब्बैया नायडू और त्रिपुराम्बा अभिनीत पहली फिल्म थी, और तत्कालीन मैसूर साम्राज्य में पहली बार प्रदर्शित हुई थी. इसका निर्माण चमनलाल डूंगाजी ने किया था, जिन्होंने सन 1932 में बैंगलोर में साउथ इंडिया मूवीटोन की स्थापना की थी.
प्रथम पंजाबी फ़िल्म पॉलीवुड :
पहली पंजाबी फ़िल्म 1928 में बनी थी, जो आज के लाहौर में बनी थी. यह शंकरदेव आर्य द्वारा निर्देशित एक मूक फ़िल्म थी. पहली पंजाबी सवाक फिल्म हीर रांझा थी , जिसका निर्देशन अब्दुर रशीद कारदार ने किया था और यह 1932 में रिलीज हुई थी.
प्रथम असमी सिनेमा (जोलीवुड) :
असमिया सिनेमा (पूर्व में जॉलीवुड) असमिया भाषा का एक भारतीय फिल्म उद्योग है. यह असम , भारत में स्थित है. इस उद्योग का जन्म 1935 में हुआ जब ज्योति प्रसाद अग्रवाल ने अपनी फिल्म जॉयमोती रिलीज़ की. तब से असमिया सिनेमा ने एक धीमी गति वाली, संवेदनशील शैली विकसित की है.
प्रथम छत्तीसगड़ी सिनेमा (छोलीवुड),
छत्तीसगढ़ में बनी पहली फिल्म “कही देबे संदेस” थी, जो सन 1965 में अनमोल चित्रमंदिर प्रोडक्शन के नाम से रिलीज हुई थी और इसे खत्म होने में कुल 27 दिन लगे थे. छत्तीसगढ़ी फिल्म “कही देबे संदेस” में कान मोहन और सुरेखा ने प्रमुख भूमिकाएँ निभाईं. यह फिल्म सामाजिक चेतना को बढ़ाने और सामाजिक बुराइयों को उजागर करने के बारे में थी. सन 1960 और 1970 के दशक के दौरान समाज में प्रमुख जाति संरचना अस्पृश्यता और निरक्षरता को उजागर करने वाली फिल्म है.
विश्व की सबसे पहली फिल्म :
ऐसा माना जाता है कि ‘Roundhay Garden Scene’ विश्व की पहली फिल्म थी इस फिल्म का निर्माण सन 1888 में एक फ्रांसीसी आविष्कारक लुई ले प्रिंस ने किया था. यह एक मूक फिल्म थी जो बहुत ही छोटी केवल 2.11 सेकेंड की थी. इस फिल्म की शूटिंग Roundhay, Leeds ओकवुड गार्डन इंग्लैंड में हुई थी. यह एक ऐसी जगह है जो अपने बगीचों के लिए बहुत प्रसिद्ध है और एक लोकप्रिय पर्यटन स्थल है.
विश्व की पहली बोलती फ़िल्म :
विश्व की पहली बोलती फिल्म ‘द जैज़ सिंगर’ थी जो ता : 6 अक्टूबर 1927 को रिलीज़ हुई थी. यह फिल्म द जैज़ सिंगर नाटक से प्रेरित थी जब इस फिल्म को बनाया तो उस समय सोचा गया कि इसमें केवल गाने ही आवाज दी जाएगी लेकिन मुख्य अभिनेता अल जोल्सन के पास अन्य विचार थे. उन्होंने फिल्म में कुछ संवाद बोलना शुरू किया और निर्माताओं और निर्देशकों ने उन पंक्तियों को फिल्म में शामिल करने का फैसला किया.
फिल्म का निर्माण एलन क्रॉसलैंड द्वारा किया गया था और डेरिल ज़नक द्वारा निर्देशित किया था. इस फिल्म के साथ ही साइलेंट फिल्मों का दौर खत्म हो गया था और अब हम फिल्मों को देखने के साथ उनके डायलॉग सुन भी सकते थे यह फिल्म इंडस्ट्रीज में काफी बड़ा बदलाव था.
विश्व की पहली रंगीन फिल्म :
दुनिया की पहली रंगीन फिल्म ” A Trip to the Moon ” को मान सकते हैं इस फिल्म को साल 1902 में बनाई गई थी , लेकिन यह आज के जैसी दिखने वाली कलर फिल्म नहीं थी वैसे इसे कलर फिल्म बनाने के लिए किनेमाकोलर प्रक्रिया का इस्तेमाल किया गया था.
किनेमाकोलर एक फिल्म प्रक्रिया है जो विभिन्न रंगों को बनाने के लिए लाल और हरे रंग के फिल्टर का उपयोग करती है. यह 1900 के दशक में बहुत क्रांतिकारी था और आप इसे फिल्म ‘A Trip to the Moon’ में इस्तेमाल करते हुए देखकर इसे एक्सपीरियंस कर सकते हैं.
वैसे अगर विश्व की पहली पूरी रंगीन फिल्म की बात करें तो ” The Toll of the Sea ” फिल्म थी जिसे 1922 में रिलीज किया गया था यह एक सफल फिल्म थी जिसके बाद लोगो का रुझान फिल्मों की तरफ बढ़ने लगा.