अजीत कुमार डोभाल भारत के प्रधानमंत्री के पांचवें और वर्तमान राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) हैं. वे केरल कैडर के सेवानिवृत्त भारतीय पुलिस सेवा (IPS) अधिकारी और पूर्व भारतीय खुफिया और कानून प्रवर्तन अधिकारी हैं. 1945 में उत्तराखंड में जन्मे भारत के सबसे कम उम्र के पुलिस अधिकारी थे जिन्हें कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया था, जो सैन्य कर्मियों के लिए एक वीरता पुरस्कार है.
हमारे भारत द्वारा की गई सितंबर 2016 की सर्जिकल स्ट्राइक और फरवरी 2019 में पाकिस्तान की सीमा पार बालाकोट हवाई हमले डोभाल की देखरेख में ही किए गए थे. उन्होंने डोकलाम गतिरोधको खत्म करने में भी मदद की और निर्णायक कदम उठाए थे.
पहलगाम हमले के जवाब में 7 मई को भारतीय सेना द्वारा पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) में आतंकवादी बुनियादी ढांचे पर हमला करने के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच शत्रुता बढ़ गई, जिसमें 26 लोग मारे गए थे.
दोनों परमाणु-सशस्त्र पड़ोसियों के बीच 10 मई को चार दिनों तक सीमा पार से ड्रोन और मिसाइल हमलों के बाद तत्काल प्रभाव से जमीन, हवा और समुद्र पर सभी गोलीबारी और सैन्य कार्रवाइयों को रोकने के लिए समझौता हुआ था.
डोभाल का जन्म ई. सन 1945 में तत्कालीन संयुक्त प्रांत (अब उत्तराखंड में ) के पौड़ी गढ़वाल के घिरी बनेलस्यूं गांव में हुआ था. डोभाल के पिता मेजर जी.एन.डोभाल भारतीय सेना में एक अधिकारी थे.
उन्होंने अपनी प्रारंभिक शिक्षा राजस्थान के अजमेर स्थित अजमेर मिलिट्री स्कूल में प्राप्त की. तथा उन्होंने सन 1967 में आगरा विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में स्नातकोत्तर की उपाधि प्राप्त की.
केरल कैडर के आईपीएस अफसर रहे डोभाल ने अपनी सर्विस के दौरान देश की सुरक्षा को लेकर कई बेहद जोखिम भरे ऑपरेशन अंजाम दिए. लेकिन सबसे चौंकाने वाली उनकी वो कहानी है जब वो सात साल तक पाकिस्तान में एक मुसलमान के वेश में अंडरकवर एजेंट के तौर पर रहे.
उन्होंने कई प्रमुख समाचार पत्रों और पत्रिकाओं के लिए संपादकीय लेख लिखने के अलावा, उन्होंने भारत और विदेशों में कई प्रसिद्ध सरकारी और गैर-सरकारी संस्थानों, सुरक्षा थिंक -टैंकों में भारत की सुरक्षा चुनौतियों और विदेश नीति के उद्देश्यों पर व्याख्यान दिए हैं.
उनको दिसंबर 2017 में डॉ. भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय (पूर्व में आगरा विश्वविद्यालय) से मानद डॉक्टरेट की उपाधि से सम्मानित किया गया है,
मई 2018 में कुमाऊं विश्वविद्यालय से और नवंबर 2018 में एमिटी विश्वविद्यालय से.
डोभाल सराहनीय सेवा के लिए पुलिस पदक पाने वाले सबसे कम उम्र के पुलिस अधिकारी थे. सन 1988 में, डोभाल को सर्वोच्च वीरता पुरस्कारों में से एक, कीर्ति चक्र प्रदान किया गया , जिससे वह पहले पुलिस अधिकारी बन गए जिन्हें एक ऐसा पदक मिला जो पहले केवल सैन्य सम्मान के रूप में दिया जाता था.